टोक्यो: जापान में चीनी महावाणिज्य दूत जू जियान ने जापानी पीएम का सिर काटने की धमकी दी है। जापान की प्रधानमंत्री साने ताकाइची की ताइवान पर की गई टिप्पणी की प्रतिक्रिया में जू ने उनकी गर्दन अलग करने की बात कही। इस पर टोक्यो में आक्रोश है और दोनों क्षेत्रीय शक्तियों के बीच तनाव बढ़ता नजर आ रहा है। हालांकि चीनी डिप्लोमेट की टिप्पणी को सोशल मीडिया से हटा लिया गया लेकिन ये मुद्दा ठंडा होता नहीं दिख रहा है।
पिछले महीने जापान की प्रधानमंत्री बनीं साने ताकाइची ने कहा था कि ताइवान पर चीन की नाकेबंदी जापान के लिए 'अस्तित्व का खतरा' पैदा कर सकती है। इसके जवाब में टोक्यो को अपनी आत्मरक्षा सेना तैनात करनी पड़ सकती है। दरअसल ताइवान जापानी क्षेत्र से सिर्फ 60 मील की दूरी पर स्थित है। इस क्षेत्र को चीन अपना हिस्सा कहता है, जो विवाद का विषय रहा है।
गर्दन काटने का ही विकल्पओसाका में चीनी महावाणिज्य दूत जू जियान ने ताकाइची के जवाब में रविवार को कहा कि वह गंदी गर्दन जो अपने आप घुस आई। मेरे पास बिना किसी हिचकिचाहट के उसे काट देने के अलावा कोई विकल्प नहीं है। क्या आप इसके लिए तैयार हैं। जापान सरकार ने इस बयान की कड़ी निंदा करते हुए अपना एतराज दर्ज कराया है।
जापान की मुख्य कैबिनेट सचिव मिनोरू किहारा ने जून के कमेंट को बेहद अनुचित बताते हुए कहा कि टोक्यो ने बीजिंग के समक्ष औपचारिक विरोध दर्ज कराया है। किहारा ने कहा कि जू ने अतीत में भी कई भड़काऊ टिप्पणियां की हैं। ऐसे में हमने चीन से अनुशासनात्मक कार्रवाई करने का आग्रह किया है। इस तरह के बयान नहीं आने चाहिए।
चीन-जापान में तनावचीनी डिप्लोमेट ने अपना पोस्ट हटा दिया लेकिन उनको अपनी सरकार से इस पर समर्थन मिलता दिख रहा है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लिन जियान ने सोमवार को कहा कि जू के शब्द ताकाइची की ताइवान पर 'गलत और खतरनाक' टिप्पणियों के जवाब में थे। लिन ने टोक्यो से 'अपनी ऐतिहासिक जिम्मेदारियों पर गंभीरता से विचार करने' का आग्रह भी किया।
इस घटनाक्रम से एशिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं (चीन-जापान) के बीच संबंधों में तनाव बढ़ने का खतरा है। दोनों देशों में पहले ही कई मुद्दों पर तनातनी रही है। ताइवान का मुद्दा भी संबंधों में तनाव की एक वजह रहा है। अमेरिकी रक्षा अधिकारी यह कहते रहे हैं कि ताइवान पर चीन के किसी संभावित हमले में जापान की भागीदारी महत्वपूर्ण होगी।
पिछले महीने जापान की प्रधानमंत्री बनीं साने ताकाइची ने कहा था कि ताइवान पर चीन की नाकेबंदी जापान के लिए 'अस्तित्व का खतरा' पैदा कर सकती है। इसके जवाब में टोक्यो को अपनी आत्मरक्षा सेना तैनात करनी पड़ सकती है। दरअसल ताइवान जापानी क्षेत्र से सिर्फ 60 मील की दूरी पर स्थित है। इस क्षेत्र को चीन अपना हिस्सा कहता है, जो विवाद का विषय रहा है।
गर्दन काटने का ही विकल्पओसाका में चीनी महावाणिज्य दूत जू जियान ने ताकाइची के जवाब में रविवार को कहा कि वह गंदी गर्दन जो अपने आप घुस आई। मेरे पास बिना किसी हिचकिचाहट के उसे काट देने के अलावा कोई विकल्प नहीं है। क्या आप इसके लिए तैयार हैं। जापान सरकार ने इस बयान की कड़ी निंदा करते हुए अपना एतराज दर्ज कराया है।
जापान की मुख्य कैबिनेट सचिव मिनोरू किहारा ने जून के कमेंट को बेहद अनुचित बताते हुए कहा कि टोक्यो ने बीजिंग के समक्ष औपचारिक विरोध दर्ज कराया है। किहारा ने कहा कि जू ने अतीत में भी कई भड़काऊ टिप्पणियां की हैं। ऐसे में हमने चीन से अनुशासनात्मक कार्रवाई करने का आग्रह किया है। इस तरह के बयान नहीं आने चाहिए।
चीन-जापान में तनावचीनी डिप्लोमेट ने अपना पोस्ट हटा दिया लेकिन उनको अपनी सरकार से इस पर समर्थन मिलता दिख रहा है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लिन जियान ने सोमवार को कहा कि जू के शब्द ताकाइची की ताइवान पर 'गलत और खतरनाक' टिप्पणियों के जवाब में थे। लिन ने टोक्यो से 'अपनी ऐतिहासिक जिम्मेदारियों पर गंभीरता से विचार करने' का आग्रह भी किया।
इस घटनाक्रम से एशिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं (चीन-जापान) के बीच संबंधों में तनाव बढ़ने का खतरा है। दोनों देशों में पहले ही कई मुद्दों पर तनातनी रही है। ताइवान का मुद्दा भी संबंधों में तनाव की एक वजह रहा है। अमेरिकी रक्षा अधिकारी यह कहते रहे हैं कि ताइवान पर चीन के किसी संभावित हमले में जापान की भागीदारी महत्वपूर्ण होगी।
You may also like

Delhi Car Blast: कार में विस्फोटक था तो आतंकी सिक्योरिटी चेक में कैसे बच गया, क्या इस शातिर प्लान ने बचाया?

Bihar Times Now Exit Poll 2025: अबकी बार बिहार में किसकी सरकार? जानें क्या कहते हैं टाइम्स नाउ एग्जिट पोल के नतीजे

केंद्र ने सीपीएसई 2024 अनियमितताओं की जांच के लिए ओडिशा में सीबीआई का अधिकार क्षेत्र बढ़ाया

10 लाख, 5 लाख, 2 लाख... लाल किला ब्लास्ट के पीड़ितों के लिए मुआवजे का ऐलान

बिहार एग्जिट पोल: वोटिंग के बाद सामने आए सभी सर्वेक्षणों में NDA को क्लीन स्वीप का अनुमान




