जयपुर, 27 अगस्त (Udaipur Kiran) । गणेश चतुर्थी पर छोटीकाशी गणेशमय हो उठी। हर ओर गणपति बप्पा मोरिया…जय गणेश का जयघोष सुनाई दिया। गणेश मंदिरों में भगवान गणपति का जन्मोत्सव भक्ति भाव के साथ मनाया ही गया। जहां जयपुर में मोती डूंगरी गणेश मंदिर से लेकर, परकोटा गणेश मंदिर, नहर के गणेश और गढ़ गणेश मंदिर सहित अन्य गणेश मंदिरों में हजारों की संख्या में भक्त पहुंचे और रिद्धि-सिद्धि के दाता के दर्शन किए। घर-घर में भी लंबोदर का पूजन हुआ। घर-घर में विघ्नहर्ता का भक्ति भाव से पूजन किया गया। घर के द्वार पर विराजित द्वारपाल गणेश का जल, पंचामृत से अभिषेक कर सिंदूरी चोला धारण गया । डंका अर्पित कर लड्डू-गुड़धानी का भोग लगाया गया। परिवार के सभी लोगों ने आरती उतारी। गणेश चतुर्थी पर अनेक शुभ योग बनने से गणेशोत्सव के प्रति लोगों को उत्साह साफ दिख रहा था। रवि योग सर्वार्थ सिद्धि योग और लक्ष्मी नारायण योग के साथ बुधवार को गणेश चतुर्थी होने से हर घर में गणेश पूजन हुआ। बुध ग्रह बुद्धि, वाणी, गणित, व्यापार और तर्कशक्ति का कारक माना गया है। बुधवार को सूर्य और केतु की युति रही। साथ ही चंद्रमा और मंगल की युति से लक्ष्मी योग भी बना।
प्रतिष्ठानों के उद्घाटन की रही धूम
गणेश चतुर्थी के अबूझ शुभ मुहूर्त में हजारों की संख्या में व्यापारिक प्रतिष्ठानों का शुभारंभ हुआ। इनमें मोबाइल स्टोर, ऑटोमोबाइल शोरूम, इलेक्ट्रॉनिक सामान के प्रतिष्ठान प्रमुख हैं। नवीन प्रतिष्ठानों को गुब्बारों और फूलों से सजाया गया। पंडितजी ने पूजा-अर्चना कराई और उपस्थित लोगों को अल्पाहार कराया गया। गणेश चतुर्थी के मौके पर लगभग सभी बाजारों में भारी रौनक रही। लंबे समय से शुभ मुहूर्त का इंतजार कर रहे लोगों ने बुधवार को वाहन, इलेक्ट्रॉनिक सामान, शादी-सगाई के लिए ज्वेलरी खरीदी। लोगों ने फ्लैट और प्लॉट भी खरीदे। ज्यादा से ज्यादा बिक्री के लिए कंपनियों ने आकर्षक ऑफर भी दिए।
छोटीकाशी के सभी गणेश मंदिरों में सुबह से देर शाम तक लाखों श्रद्धालुओं ने प्रथम पूज्य के दर्शन किए। मोती डूंगरी गणेश मंदिर में सर्वाधिक संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने पहुंचे। मंदिर महंत कैलाश शर्मा ने बताया कि स्वर्ण मुकुट और पारंपरिक नौलखा श्रृंगार से अलंकृत गणेश जी के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं में भारी उत्साह दिखा। सुबह चार बजे जैसे ही मंगला झांकी के लिए मंदिर के पट खुले तो हजारों की संख्या में उपस्थित श्रद्धालुओं ने गणपति बप्पा से जयघोष से मंदिर के आसपास के पूरे क्षेत्र को गुंजायमान कर दिया।
मोती डूंगरी गणेश मंदिर में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा पत्नी के साथ दर्शन करने पहुंचे। इस दौरान ग्रेटर नगर निगम मेयर सौम्या गुर्जर भी साथ रही। मंदिर महंत कैलाश शर्मा ने मुख्यमंत्री शर्मा के परिवार के नाम से विधि विधान से पूजा अर्चना करवाई। इसके बाद महंत कैलाश शर्मा ने सीएम और उनकी पत्नी को चुनरी ओढ़ाई।वहीं सिविल लाइंस विधायक गोपाल शर्मा सुबह मोती डूंगरी गणेश मंदिर में दर्शन करने पहुंचे। मंदिर महंत कैलाश शर्मा ने गोपाल शर्मा का दुपट्टा ओढ़ाकर अभिनंदन किया। गोपाल शर्मा ने पूजा-अर्चना कर गणपति से सभी की खुशहाली की कामना की। साथ ही कश्मीर में भूस्खलन से मारे गए लोगों की आत्मशांति तथा घायल लोगों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की। जयपुर नगर हेरिटेज की महापौर कुसुम यादव सहित कई अन्य विशिष्ट जन भी मोती डूंगरी गणेश जी के दर्शन करने पहुंचे।
सिद्धी विनायक का 21 किलो पंचामृत से किया अभिषेक
नाहरगढ़ की पहाड़ी पर स्थित जयपुर स्थापना से पूर्व के गढ़ गणेश मंदिर की 365 सीढिय़ां चढक़र श्रद्धालु दर्शन करने पहुंचे। महंत प्रदीप औदीच्य के सान्निध्य में बाल स्वरूप पुरुषाकृति गणपति का वैदिक मंत्रोच्चार के साथ पंचामृत अभिषेक किया गया। फूलों की पोशाक धारण कराई गई। गुड़धानी और लड्डू का भोग लगाया गया। गोविंद देवजी मंदिर ठिकाने के आमेर रोड कनक घाटी स्थित सिद्धिविनायक गणेश जी मंदिर में महंत अंजन कुमार गोस्वामी के सान्निध्य में प्रथम पूज्य का 21 किलो पंचामृत, फलों के रस , केसर जल अभिषेक कर सिंदूरी चोला धारण कराया गया। नवीन पोशाक धारण कराकर ऋतु पुष्पों से श्रृंगार किया गया। गुड़धानी, मोदक, पांच तरह के फल सहित अनेक प्रकार के व्यंजनों का भोग लगाया गया।
गणेश मंदिरों में हजारों की संख्या में भक्त पहुंचे
सूरजपोल के श्वेत सिद्धि विनायक मंदिर में श्रद्धालुओं ने दुर्वांकुर अर्पित कर गणेश जी की वंदना की। माउंट रोड ब्रह्मपुरी स्थित नहर के गणेश मंदिर में महंत जय शर्मा के सान्निध्य में तीन दिवसीय गणेश जन्मोत्सव के तहत तीसरे दिन बुधवार को मुख्य उत्सव गणेश उत्सव मनाया गया। विशेष पोशाक और आभूषणों से सुसज्जित झांकी के दर्शन करने श्रद्धालु उमड़ पड़े। चांदपोल परकोटा गणेश मंदिर में महंत अमित शर्मा के सान्निध्य में गणेश चतुर्थी मनाई गई। सुबह पंचामृत से गणेश जी का जन्माभिषेक किया गया। फूलों से श्रृंगार किया गया। गलता गेट स्थित गीता गायत्री गणेश मंदिर में पं. राजकुमार चतुर्वेदी के सानिध्य में गणेश चतुर्थी पर्व धूमधाम से मनाया गया। दिल्ली रोड स्थित बंगाली बाबा आत्माराम ब्रह्मचारी गणेश मंदिर में महागणपति महोत्सव भक्तिभाव से मनाया गया। बड़ी चौपड़ स्थित ध्वजा धीश गणेश जी, चौड़ा रास्ता स्थित काले गणेश जी, आगरा रोड स्थित गंगोत्री गणेश सहित अन्य गणेश मंदिरों में भी बुधवार को गणेश चतुर्थी महोत्सव धूमधाम से मनाया गया। श्री बालाजी जन कल्याण ट्रस्ट के तत्वावधान में खिरनी फाटक झोटवाड़ा स्थित रिद्धि सिद्धि गणेश मंदिर में श्री गणेश जन्मोत्सव धूमधाम से मनाया गया। सुबह जन्माभिषेक कर पंचोपचार पूजन किया गया।
बंगाली बाबा मंदिर में गणेश चतुर्थी दर्शनों के लिए दिनभर लगा रहा भक्तों का तांता
दिल्ली रोड स्थित बंगाली बाबा आत्माराम ब्रह्मचारी गणेश मंदिर में बुधवार को गणेश चतुर्थी का पर्व धूमधाम से मनाया गया। इस मौके पर जहां प्रथम पूज्य का श्रृंगार भक्तों के बीच आकर्षण का केन्द्र रहा,वहीं ख्यातिप्राप्त भजन कलाकारों ने प्रथम पूज्य को रिझाया। इस दौरान गणेश भगवान के दर्शनार्थ भक्तों का तांता लगा रहा। मंदिर प्रबंध समिति के अध्यक्ष नारायण लाल अग्रवाल व उपाध्यक्ष व संयोजक संजय पतंगवाला ने बताया कि गणेश चतुर्थी के तहत होने वाले कार्यक्रमों का सिलसिला सुबह से ही शुरू हो गया था। सर्वप्रथम मंत्रोच्चारण के बीच प्रथम पूज्य का मोदक अर्पित किए गए। इसके बाद विधि विधान से पूजा अर्चना की गई। इसके बाद प्रथम पूज्य के समक्ष लड्डुओं की झांकी सजाई गई। इस दौरान मंदिर में आने वाले भक्तों को प्रसादी भी वितरित की गई।
महाराष्ट्र की तर्ज पर राजधानी में जगह-जगह गणेशोत्सव की धूम
महाराष्ट्र की तर्ज पर राजधानी में विभिन्न स्थानों पर गणेश जी के पंडाल सज गए। आवासीय सोसायटियां में गणेशोत्सव की शुरुआत गणेश चतुर्थी से हुई। प्रतिदिन पूजा-अर्चना, महाप्रसाद वितरण और सांस्कृतिक कार्यक्रमों के आयोजन होंगे। गणेशजी के कुछ पांडाल ‘ऑपरेशन सिंदूर’ थीम पर सजाए गए हैं। देश की सुरक्षा और शौर्य को समर्पित इस थीम के अलावा विकसित भारत की थीम पर भी गणेश पंडाल सजाए गए है। राष्ट्रभक्ति और पर्यावरण संरक्षण से जुड़े संदेश भी दिए जा रहे हैं। पूजा पांडालों में इको फ्रेंडली गणेश मूर्तियां विराजमान की गई है। बुधवार को शोभायात्रा और कलश यात्रा के रूप में गणपति को लाया गया। इसी कड़ी में बनीपार्क स्थित माधव विलास में बुधवार को गणपति उत्सव का श्रीगणेश हुआ। महामंडलेश्वर आचार्य नमर्दाशंकरपुरी महाराज, सालासर धाम के पुजारी डॉ. विष्णुदत्त, त्रिवेणी धाम के नरसिंह दास, गायत्री चेतना केंद्र मुरलीपुरा के मनु महाराज, बोहरा जी की बावड़ी के गोपाल दास महाराज, के सानिध्य में आचार्य राजेश पुजारी ने विधि विधान से माधव विलास चा राजा की स्थापना की। इससे पूर्व माधव विलास के शिव मंदिर से गणपति बाप्पा का आगमन हुआ। दोपहर को अभिजीत मुहूर्त में गणपति की स्थापना की गई। ऊषा ओमप्रकाश मालपानी एवं अन्य ने महाआरती कर प्रसाद वितरण किया। यहां 6 सितम्बर तक प्रतिदिन दोपहर 12:15 बजे एवं शाम 7:15 बजे नित्य आरती होगी। उत्सव का समापन 6 सितंबर को शाम 4:15 बजे मह आरती के साथ होगा। शाम 5:15 बजे माधव सिंह सर्किल से शोभायात्रा निकाली जाएगी। शाम 7:15 बजे माधव विलास गार्डन में गणपति विसर्जन किया जाएगा। सीकर रोड ढहर के बालाजी के परसराम नगर स्थित श्रीमन्न नारायण धाम में गणपति की स्थापना की गई। तरुण भारती, डॉ. दीपिका शर्मा एवं ने विधि विधान से पूजन कर सभी की खुशहाली की कामना की। विद्याधर नगर, वैशाली नगर, राजा पार्क, झोटवाड़ा, प्रतापनगर, मानसरोवर, मालवीय नगर सहित अनेक उप क्षेत्रीय कॉलोनियों में सामूहिक रूप से गणपति की स्थापना की गई।
मिट्टी से बने गणेश जी घर ले जा रहे
इस बार पर्यावरण बचाओ के संदेश के साथ लोग घरों पर मिट्टी के गणेश ही लेकर गए है। ऐसे में पिछले साल के मुकाबले पीओपी से बने गणेश जी की मूर्ति की खरीदारी कम हो गई है। जयपुर में मूर्ति बनाने वाले कारीगर भी अब मिट्टी के ही गणेश बेच रहे हैं।
गणेश जन्मोत्सव के अवसर पर जयपुर के पुराने शहर स्थित गंगापोल दरवाजे पर विराजमान प्रथमेश गणपति का ढोल, नगाड़े के साथ पूजन किया गया। इस दौरान हवामहल विधानसभा क्षेत्र के विधायक बालमुकुंद आचार्य क्रेन पर सवार होकर भगवान का पूजन करने पहुंचे। उन्होंने क्रेन में चढ़कर भगवान गणेश की पूजा अर्चना की।
नगर निगम ग्रेटर मुख्यालय पर गणेश चतुर्थी पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। महापौर डॉ. सौम्या गुर्जर ने नगर निगम ग्रेटर मुख्यालय पर स्थापित गणपति की प्रतिमा की विधिवत रूप से पूजा अर्चना की। इस अवसर पर चैयरमेन एवं पार्षद रमेश चन्द्र सैनी, रामकिशोर प्रजापत, महेश कुमार संघी, इन्द्र प्रकाश धाभाई, आयुक्त डॉ. गौरव सैनी सहित निगम के आला अधिकारी एवं कर्मचारी मौजूद रहे। बड़ी चौपड़ स्थित ध्वजाधीश गणेश मंदिर में भी सुबह से श्रद्धालुओं की भीड़ भगवान के दर्शनों को यहां पहुंची है। इन्हें झंडे वाले गणेश के नाम से भी पुकारा जाता है।
ब्रह्मपुरी माउंट रोड़ पर स्थित नगर के अति प्राचीन दाहिनी सूंड दक्षिण मुखी श्री नहर के गणेश के महंत पंडित जय शर्मा ने बताया कि भगवान गणेश का आज जन्मोत्सव मनाया जा रहा है। इस अवसर पर भगवान को विशेष रूप से हाथ से सोने चांदी और रत्न जड़ित राजशाही पोशाक धारण करवाई गई। सवा 7 बजे नियमित आरती के बाद सुबह 9 बजे वैदिक मंत्रों से भगवान को दूर्वा अर्पित किया गया। भगवान का सुबह 11.30 बजे जन्माभिषेक कर छप्पन भोग लगाए गए। शाम को मंदिर के बाहर बैंड बाजे के साथ भव्य आतिशबाजी की गई।
परकोटा गणेश मंदिर मे सजी छप्पन भोग की झांकी
गणेश चतुर्थी का पर्व विशेष योग और संयोग के साथ मनाया जा रहा है। इसी कड़ी में परकोटा गणेश मंदिर में गणेश चतुर्थी के मौके पर गणेश जी महाराज का प्रातः विभिन्न तीर्थो के जल से पंचामृत अभिषेक फलों के रसों से अभिषेक किया गया। महंत अमित शर्मा ने बताया कि अभिषेक के पश्चात भगवान को सोने के वर्क का चोला धारण कराया। फूल बंगला झांकी सजाकर छप्पन भोग की झांकी सजाई। मंदिर में भक्तों की पूजा अर्चना के लिए भारी भीड़ देखने को मिली। स्थानीय भजन गाय को के द्वारा प्रथम पूज्य का भजनों के माध्यम से गुणगान हुआ। इस मौके पर पूरे मंदिर परिसर को फूलों और बंदरवाल झंडों से सजाया गया।
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(Udaipur Kiran)
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