डॉ. भीमराव अंबेडकर पर दोहेALSO READ:
1.
महू में जन्मे आप थे, जीवन था संघर्ष।
छूआछूत की पीर से, मन में भरा अमर्ष।
2.
शिक्षा के हथियार से, पाया उच्च मुकाम।
ज्ञान-साधना से रचा, स्वाभिमान का ग्राम।
3.
संविधान के शिल्प को, दे कर के आकार।
जात-पात को तोड़ कर, दिए दलित अधिकार।
4.
दलितों की निज पीर को, दी तुमने आवाज।
अन्यायों के जाल में, फूंका क्रांति साज।
5.
सत्याग्रह की राह पर, सहा अछूता ताप।
संविधान ही श्रेष्ठ है, किया नीति का जाप।
6.
'शिक्षित ही आगे बढ़े', बाबा का संदेश।
संघर्षों के बीच भी, रखा सदा समेश।
7.
ऊंच नीच में भेद का, था समाज में दंश ।
बाबा साहब ने दिया, समता करुणा अंश।
8.
बौद्ध धर्म में वो गए, मानवता के हेतु।
करुणा, समता, शांति का, खड़ा किया जन सेतु।
9.
धर्म वही जो मानवी, दे जो प्रेम-प्रकाश।
बाबा का सद् आचरण, अनुकरणीय प्रयास।
10.
नमन तुम्हें मानव महा, तुम भारत की शान।
तेरे सपनों का बने, सबका हिंदुस्तान।
(वेबदुनिया पर दिए किसी भी कंटेट के प्रकाशन के लिए लेखक/वेबदुनिया की अनुमति/स्वीकृति आवश्यक है, इसके बिना रचनाओं/लेखों का उपयोग वर्जित है...)ALSO READ:
You may also like
आईपीएल 2025 के बीच चमकी Prithvi Shaw की किस्मत, देखने को मिलेगा इस टी20 लीग में जलवा
भारत के लिए वनडे में हैट्रिक चटका चुके है ये खूंखार गेंदबाज, कई बडे सितारे लिस्ट में शामिल 〥
Toll Tax Tips- नियम जो आपका बचा सकते हैं टोल टैक्स, जान लिजिए इनके बारे में
नमक के नाम पर धोखा! क्या आप असली नमक खा रहे हैं
गर्मी में पीलिया से बचना है? अपनाएं ये घरेलू रामबाण उपाय